न गज़ल के बारे में कुछ पता है मुझे, न ही किसी कविता के, और न किसी कहानी या लेख को मै जानती, बस जब भी और जो भी दिल मे आता है, लिख देती हूँ "मेरे मन की"
मधुर आवाज़ में जीवन के फलसफे को समझाता सुन्दर गीत
गीत और स्वर का अद्भुत समागम!
ek baar firse , geet aur aawaj dono hi bahut sundar
गीत आपकी स्वर-लहरी से सार्थक हो गया।मधुर आवाज से समृद्ध है आप।
बहुत ख़ूबसूरती से लिखी और स्वरबद्ध की हुई रचना ...
मर्म छूती कविता व संगीतमयी स्पर्श देती आपका स्वर।
मधुर आवाज़ में जीवन के फलसफे को समझाता सुन्दर गीत
ReplyDeleteगीत और स्वर का अद्भुत समागम!
ReplyDeleteek baar firse , geet aur aawaj dono hi bahut sundar
ReplyDeleteगीत आपकी स्वर-लहरी से सार्थक हो गया।
ReplyDeleteमधुर आवाज से समृद्ध है आप।
बहुत ख़ूबसूरती से लिखी और स्वरबद्ध की हुई रचना ...
ReplyDeleteमर्म छूती कविता व संगीतमयी स्पर्श देती आपका स्वर।
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