मेरे मन की

न गज़ल के बारे में कुछ पता है मुझे, न ही किसी कविता के, और न किसी कहानी या लेख को मै जानती, बस जब भी और जो भी दिल मे आता है, लिख देती हूँ "मेरे मन की"

Tuesday, March 13, 2012

सजनवा बैरी हो गए हमार...

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मैं टूटी शाख़ से उड़ती रही दर-ब-दर गोया कि कोई पत्ती हूँ किसी पेड़ की..   शाख़ हो या दामन जब भी छूटा करता है, बिख़र जाता है सब-कुछ  और दर...
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Wednesday, March 7, 2012

आयो रे बसन्त.....

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  देवेन्द्र पाण्डेय जी के ब्लॉग से एक गीत --  
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Saturday, March 3, 2012

यादें....

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 दिन महीने साल गुजरते जाएंगे...........   सभी गीत यू ट्यूब से साभार ...
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Wednesday, February 29, 2012

सत्य तो सत्य है .....

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सच कड़वा होता है ?.....क्या सचमुच ?..ये पूछा है शिल्पा मेहता जी ने .............और बताया भी है ..कैसा होता है ..सच मैं तो सिर्फ़ पढ़ रहीं...
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Sunday, February 26, 2012

ये आलसी का काम है

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आज सुनिये एक ऐसी आवाज जिसे आप बार-बार सुनना चाहेंगे -- हैं तो ये आलसी पर चुपचाप एक काम कर रहे है जिसे सराहे बिना नहीं रह पाएंगे आप-- पास ...
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Friday, February 24, 2012

समारोह 4 - गॄहशान्ति और मंडप

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दिनाक 18 जनवरी को हुई रस्मों के कुछ यादगार पल ----पल्लवी                                                                            ...
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Tuesday, February 21, 2012

खैर! मैं तो ये बताने आया था कि --एक .......लगा दिया मैने...

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दिल से जो निकला वही कहा इसने .. -- 1-सुनने लायक तो नहीं है लेकिन डांट न पड़े इसलिए बताया .. 2-वो तो ऐसे ही कई दिन से आपकी आज्ञा पेंडिंग थ...
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मैं खुद...

Archana Chaoji
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