Wednesday, October 28, 2015

.बैंगलोर आबाद हुआ .

मैं इतने अच्छे से व्यक्त नहीं कर सकती ,रश्मिप्रभा दी ( Rashmi Prabha...).. हाँ,लेकिन आठ घंटों की मेराथन मुलाक़ात यादगार रही ..... इतने दिनों से बंद झरने फूट पड़े इसमें ..... कितने गोते लगाए ये बताया नहीं जा सकता ..... और हाँ ...आईसक्रीम तो दिखाई दे रही है पर ...चाय तो एक-दो-तीन........ और नाश्ता खाना सब फ्री !!! सबको भी याद किया ....
Rashmi Prabha added 3 new photos.
वर्षों का अनदेखा,
तस्वीरों से जुड़ा रिश्ता
अनौपचारिक हो जाता है,
यह रूबरू मिलने के बाद ज्ञात होता है !
ज्ञात होता है -
हमने जो अपनी सोच के चादर बुने थे
वे अनमोल हुए या नहीं …
ऐसी ही एक आभासी दुनिया से उतरी आवाज़
वत्सल,पल्लवी की माँ
प्यारी सी मायरा की नानी
अद्भुत हौसलों की मिसाल
शालीनता के परिधान में
गजगामिनी सी अर्चना मुझे मिली
....
अतीत सुस्वप्न हो या दुःस्वप्न
जब गुजर जाता है
तो एक कहानी बनकर रह जाता है
हम अचंभित होकर सुनते हैं
पर दरअसल कुछ ही समय के लिए
उस बीच के काल से
हम अपना तारतम्य जोड़ लें
तो बहुत कुछ सीखने-समझने के लिए मिलता है

जिसकी कथा औरों ने कही
और जिसने अपनी कथा स्वयं कही
बहुत फर्क होता है
जिसे चाहकर भी हम सारांश नहीं बना सकते
!!!
हाँ सारांश होते हैं उसके बच्चे
उसके आभासी से भाषित होते रिश्ते
और चेहरे पर उग आये सुकून के विराम चिन्ह !
....
कल की मुलाकात का एक सारांश smile emoticon - अर्चना चावजी
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Comments
Vandana Gupta आहा smile emoticon
Mridula Pradhan आप दोनों की खिलखिलाहट यहाँ तक सुनायी पड़ रही है..एकदम निष्कलुष..
अर्चना चावजी सच में ...खूब हँसे साथ हम
Pallavi Saxena Arey waah... beautiful pics....like emoticon
Kajal Kumar अच्‍छा
Udan Tashtari बधाई
Rekha Srivastava बहुत अच्छे ।
सलिल वर्मा लीजिये दीदी! बस मुझसे ही मुलाक़ात बाकी है!
Anupama Agrawal Goyal What a beautiful, heart touching, insightful poem! Such happy faces!
गिरिजा कुलश्रेष्ठ वाह ..बैंगलोर आबाद हुआ . बधाई . काश मैं भी वहाँ होती .
UnlikeReply222 hrs

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